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राजस्थान की प्रमुख सभ्यताएँ

राजस्थान की प्रमुख सभ्यताएँ

राजस्थान का इतिहास अत्यंत समृद्ध और विविधतापूर्ण है। यहाँ की प्राचीन सभ्यताएँ न केवल भारतीय उपमहाद्वीप के सांस्कृतिक विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं, बल्कि मानव सभ्यता के क्रमिक विकास को भी दर्शाती हैं। राजस्थान की प्रमुख सभ्यताएँ परीक्षा दृष्टि से भी अत्यंत महत्वपूर्ण हैं, विशेषकर RPSC, RSMSSB, और अन्य प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए|

राजस्थान की प्राचीन सभ्यताओं का काल विभाजन

राजस्थान की सभ्यताओं का विकास विभिन्न कालखंडों में हुआ है, जिन्हें मुख्यतः निम्नलिखित प्रकार से विभाजित किया जा सकता है:

कालखंडप्रमुख सभ्यताएँप्रमुख स्थल
प्रारंभिक पाषाण युगबागौर, चंबल, बनास घाटीअजमेर, अलवर, भीलवाड़ा
मध्य पाषाण युगबैराच घाटी, बिराटनगरचित्तौड़गढ़, बिराटनगर
ताम्रपाषाण युगआहड़, गिलुंड, गणेश्वर, कालीबंगाउदयपुर, सीकर, श्रीगंगानगर

1. कालीबंगा सभ्यता

स्थिति एवं काल

मुख्य विशेषताएँ

विशेषताविवरण
प्रमुख खोजकर्ताअमलानंद घोष, बी.बी. लाल, सी.के. भापर
प्रमुख अवशेषअग्निकुंड, काली चूड़ियाँ, कुएँ, तांबे के औजार
प्रमुख फसलेंगेहूँ, जौ, तिल

2. आहड़ (बनास) सभ्यता

स्थिति एवं काल

मुख्य विशेषताएँ

विशेषताविवरण
प्रमुख स्थलआहड़, गिलुंड, बालाथल
प्रमुख अवशेषतांबे के औजार, मछली पकड़ने के कांटे
प्रमुख फसलेंगेहूँ, जौ, चना

3. गणेश्वर सभ्यता

स्थिति एवं काल

मुख्य विशेषताएँ

विशेषताविवरण
प्रमुख स्थलगणेश्वर, खंडेला
प्रमुख अवशेषतांबे के औजार, चूड़ियाँ, मानव कंकाल
प्रमुख धातुतांबा

4. बागौर सभ्यता

स्थिति एवं काल

मुख्य विशेषताएँ

5. सोठी सभ्यता

स्थिति एवं काल

मुख्य विशेषताएँ

6. रंग महल सभ्यता

स्थिति एवं काल

मुख्य विशेषताएँ

7. अन्य प्रमुख सभ्यताएँ

सभ्यतास्थानविशेषता
बालाथलउदयपुरताम्रपाषाण युगीन, कृषि एवं पशुपालन
गिलुंडउदयपुरताम्रपाषाण युग, मिट्टी के बर्तन
बैराठजयपुरबौद्ध धर्म के अवशेष, अशोक स्तंभ
सुनारीझुंझुनूताम्रपाषाण युगीन अवशेष
रेडटोंकलौह युगीन अवशेष

सभ्यताओं की प्रमुख विशेषताओं की तुलना

सभ्यताकालप्रमुख औजार/वस्तुएँमुख्य व्यवसाय
कालीबंगा2350-1750 ई.पू.तांबे के औजार, अग्निकुंडकृषि, पशुपालन
आहड़3000-1500 ई.पू.तांबे की कुल्हाड़ियाँकृषि, मछली पकड़ना
गणेश्वर2500-2000 ई.पू.तांबे के भाले, चूड़ियाँतांबा निर्माण, कृषि
बागौर4000-2000 ई.पू.पत्थर/हड्डी के औजारशिकार, कृषि
सोठी4600-3800 ई.पू.मिट्टी के बर्तन, कृषि उपकरणकृषि, पशुपालन

महाजनपद काल और राजस्थान

महाजनपद काल में राजस्थान के कई क्षेत्र जनपदों के रूप में विकसित हुए। ये जनपद न केवल राजनीतिक दृष्टि से, बल्कि सामाजिक और आर्थिक दृष्टि से भी महत्वपूर्ण थे। महाजनपदों के विकास से राजस्थान में व्यापार, कृषि, और शिल्पकला का विस्तार हुआ1

निष्कर्ष

राजस्थान की प्रमुख सभ्यताएँ न केवल क्षेत्र की ऐतिहासिक विरासत का प्रमाण हैं, बल्कि यह भी दर्शाती हैं कि यहाँ के लोग प्राचीन काल से ही विज्ञान, शिल्प, कृषि, और व्यापार में अग्रणी रहे हैं। कालीबंगा, आहड़, गणेश्वर, बागौर, सोठी, रंग महल जैसी सभ्यताएँ राजस्थान के गौरवशाली अतीत की अमिट छाप हैं। इन सभ्यताओं का अध्ययन न केवल प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए बल्कि सांस्कृतिक अध्ययन के लिए भी अत्यंत आवश्यक है।

महत्वपूर्ण बिंदु:

यह Notes राजस्थान की प्रमुख सभ्यताओं पर आधारित है और प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए अत्यंत उपयोगी है।


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